नए वैरिएंट्स से बच्चों में भी बढ़ा खतरा, वैक्सीन के साथ ये उपाय देंगे सुरक्षा

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पिछले तीन साल से अधिक समय से वैश्विक स्तर पर जारी कोरोना महामारी ने लगभग सभी उम्र के लोगों को अपना शिकार बनाया है। पिछले एक महीने से चीन सहित दुनिया के कई अन्य हिस्सों में ओमिक्रॉन के नए वैरिएंट्स के कारण संक्रमण बढ़ा है। इन नए और म्यूटेटेड वैरिएंट्स की प्रकृति काफी चिंता बढ़ाने वाली है। शोधकर्ताओं ने पाया कि ये शरीर में वैक्सीन और प्राकृतिक संक्रमण से बनी प्रतिरक्षा को भी आसानी से चकमा देकर लोगों को संक्रमित कर रहे हैं।

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इस तरह के जोखिम को देखते हुए सभी लोगों को गंभीरता से लगातार कोविड एप्रोप्रिएट बिहेवियर का पालन करते रहने की सलाह दी जाती है। सार्स-सीओवी-2 वायरस के कारण होने वाले संक्रमण के रिकॉर्ड देखें तो पता चलता है कि वायरस बच्चों के लिए ज्यादा गंभीर रोग का कारण नहीं बनता है। हालांकि कुछ स्थितियों में इसके कारण बच्चों में भी गंभीर जटिलताओं का खतरा हो सकता है। हालिया अध्ययनों में भी पाया गया है कि ओमिक्रॉन के म्यटेटेड वैरिएंट्स कुछ स्थितियों में बच्चों में भी संक्रमण और गंभीर रोगों का जोखिम बढ़ाने वाले हो सकते हैं। आइए जानते हैं कि कोरोना के खतरे से बच्चों को किस प्रकार से सुरक्षित रखा जा सकता है?

जापान : बच्चों में रिपोर्ट की गई अधिक मृत्युदर

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जापान से दिसंबर 2022 में आई कुछ रिपोट्र्स के मुताबिक यहां ओमिक्रॉन वैरिएंट्स के कारण बच्चों में संक्रमण और मृ्त्यु का जोखिम देखा गया। रिपोर्ट के अनुसार साल 2021 के अंत में 20 वर्ष से कम आयु में कोविड-19 से मरने वालों की संख्या मात्र तीन थी, हालांकि 2022 के पहले आठ महीनों में यह आंकड़ा बढ़कर 41 हो गया। स्वास्थ्य विशेषज्ञों का कहना था कि बच्चों के साथ खतरा उन लोगों के लिए भी बना हुआ है जिनकी प्रतिरक्षा प्रणाली कमजोर है या फिर वैक्सीनेशन नहीं हुआ है। इससे इतर कोरोना के ज्यादातर अध्ययन बताते हैं बच्चों में संक्रमण और गंभीर रोग का जोखिम कम होता है, हालांकि इनसे प्रसार बढऩे का जोखिम जरूर हो सकता है। इस खतरे को देखते हुए बच्चों के लिए भी सुरक्षा के उपाय बहुत आवश्यक हैं।

हाथों की स्वच्छता जरूरी

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बार-बार साबुन और पानी से कम से कम 20 सेकेंड तक हाथ धोकर या अल्कोहल आधारित हैंड रब का इस्तेमाल करके कोरोना के संक्रमण से बचाव और रोग के खतरे से सुरक्षित रहा जा सकता है। सभी माता-पिता बच्चों को इस बारे में जरूर बताएं। सुनिश्चित करें कि खांसने-छींकने या दरवाज़े के हैंडल जैसी वस्तुओं को छूने के बाद बच्चे हाथ जरूर धोएं। बार-बार मुंह-नाक छूने से रोकें।

मास्क बहुत आवश्यक

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कोरोना से बचाव के लिए मास्क सभी लोगों के लिए जरूरी है, बच्चों को भी भीड़-भाड़ या स्कूल में मास्क लगाकर रखने के फायदों के बारे में जरूर समझाएं। सुनिश्चित करें कि आपका बच्चा मास्क सही ढंग से पहनता है। मास्क का इस्तेमाल करके बच्चों को संक्रमण के जोखिम से बचाने में मदद मिल सकती है। इसे नियमित आदत का हिस्सा बनाएं।

सोशल डिस्टेंसिंग और व्यायाम की आदत

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अधिक होता है, इससे बचाव के लिए बच्चों में भी सोशल डिस्टेंसिंग की आदत बनाएं। अत्यधिक भीड़-भाड़ वाले सार्वजनिक स्थानों पर अनावश्यक रूप से बच्चों को न ले जाएं। ऐसा करके संक्रमण के प्रसार को कम करने और बच्चों को संक्रमण के जोखिम से बचाने में मदद मिल सकती है।

स्वस्थ आहार और नियमित व्यायाम

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कोरोना से बचाव के लिए इम्युनिटी मजबूत होना आवश्यक है। इसके लिए बच्चों की आहार पौष्टिकता का विशेष ध्यान रखें। विटामिन्स और पोषक तत्वों से भरपूर आहार दें, जंक फूड्स से दूरी बनवाएं। सुनिश्चित करें कि बच्चा नियमित रूप से योग-व्यायाम करे। ऐसे उपाय प्रतिरक्षा प्रणाली को मजबूत बनाए रखने के लिए बहुत आवश्यक हैं।

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