डाॅ. सतीश पूनियां ने ‘कोविड-19 से मेरे संघर्ष’ पर ट्विटर पर किया संवाद, सवालों के दिये जवाब

डॉ. सतीश पूनियां, satish punia
डॉ. सतीश पूनियां, satish punia

जयपुर। भाजपा प्रदेशाध्यक्ष डाॅ. सतीश पूनियां ने ट्विटर पर ‘‘कोविड-19 से मेरे संघर्ष’’ पर स्वयं के 14 दिन होम क्वारेन्टाइन, दिनचर्या एवं वर्चुअल माध्यम से पार्टी कार्यक्रमों से लगातार जुड़े रहने सहित विभिन्न महत्वपूर्ण बिन्दुओं को लेकर संवाद किया। ट्विटर पर डाॅ. पूनियां से प्रदेशभर के तमाम जिलों के लोगों ने कोविड के ईलाज के दौरान एकांतवास, वर्चुअल माध्यम से पार्टी कार्यक्रमों एवं आमजन से संवाद, योग, प्राणायाम, संगीत, लेखन, अध्ययन इत्यादि विषयों को लेकर सवाल किये। सभी सवालों के डाॅ. पूनियां ने जवाब दिये।

इनमें एक महत्वपूर्ण सवाल यह भी था कि क्या आपको सबसे ज्यादा माँ की चिंता हुई, आप लेखक भी हैं एकातंवास में क्या-क्या लिखा? जवाब में डाॅ. पूनियां ने कहा कि माँ से बढ़कर इस दुनिया में कोई नहीं है। जोधपुर प्रवास के दौरान माँ से मेरी मुलाकात नहीं हो पायी। संक्रमण के कारण मैं उनसे नहीं मिल पाया, वैसे नियमित रूप से उनसे मिलकर बातें करता हूँ, उनका आशीर्वाद लेता हूँ। मैंने एकातंवास में प्रधाानमंत्री मोदी जी पर एवं केन्द्र की कल्याणकारी योजनाओं पर लेख लिखे, अध्ययन किया और कई कविताएं भी लिखीं। उन्होंने कोरोना कालखण्ड में पार्टी द्वारा प्रदेशभर में किये जनसेवा कार्यों का उल्लेख करते हुए कहा कि भोजन, राशन, पानी, फेस कवर, सैनेटाइजर इत्यादि का वितरण करने के साथ ही युवा मोर्चा ने बड़े स्तर पर रक्तदान किया, जो मानव हित में सराहनीय कार्य है। डाॅ. पूनियां ने भी प्लाज्मा डोनेशन के लिए अपने आपको प्रस्तुत किया।

डाॅ. पूनियां ने कहा कि जल्द ही स्वस्थ होकर जयपुर के आराध्य देव भगवान गोविन्द देवजी, शिला माता, मोती डूँगरी गणेश मन्दिर में दर्शन करने जाऊँगा और भाजपा प्रदेश कार्यालय पहुँचकर एवं प्रदेश के विभिन्न जिलों के प्रवास कर पूरे जोश और ऊर्जा के साथ हम सभी कार्यकर्ता पार्टी की गतिविधियों को आगे बढ़ायेंगे और पार्टी को मजबूती के साथ अभेद्य बनायेंगे। उन्होंने कहा कि वर्चुअली एवं फोन के माध्यम से लगातार पदाधिकारियों, कार्यकर्ताओं एवं आमजन से जुड़ा रहा, इससे मुझे अकेलापन महसूस नहीं हुआ। हमेशा मैं आप सबके बीच रहता हूँ, लेकिन आइसोलेशन के कारण आपसे दूर रहना पड़ा। जल्द ही स्वस्थ होकर आपसे मुलाकात करूंगा और सदैव आपके बीच रहकर आपकी सेवा करता रहूंगा।

वर्तमान में प्रदेश में अगर भाजपा की सरकार होती तो कोरोना कालखण्ड में कांग्रेस सरकार से भाजपा सरकार क्या अलग और बेहतर करती? इस सवाल के जवाब में डाॅ. पूनियां ने कहा कि कांग्रेस और भाजपा में सबसे पहला फर्क विचार एवं व्यवहार का है। पूरे कोरोना कालखण्ड में कांग्रेस सरकार के तौर पर थोड़ी बहुत दिखी, लेकिन संगठन के तौर पर जनता से दूर रही। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जे.पी. नड्डा के आव्हान एवं निर्देशानुसार प्रदेशभर में भाजपा ने करोड़ों भोजन के पैकेट, 60 लाख से अधिक राशन सामग्री, पानी, जूते-चप्पल वितरण, परिवहन सुविधा, फेस कवर, सैनेटाइजर इत्यादि मदद कर जनसेवा के कार्य किये। साथ ही कार्यकर्ताओं एवं भामाशाहों ने करीब 50 करोड़ रूपये पीएम केयर्स फण्ड में अंशदान दिया।

केन्द्र सरकार की आयुष्मान भारत योजना एवं राज्य की भामाशाह स्वास्थ्य योजना का लोगों को वर्तमान कांग्रेस सरकार लाभ नहीं दे रही है, इससे प्रदेश का आमजन हताश एवं परेशान है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के कुशल नेतृत्व में शानदार कोरोना प्रबन्धन से हालात पर काबू पाया गया एवं वेन्टिलेटर, पीपीई किट का बड़े स्तर पर देश में निर्माण होने लगा और आत्मनिर्भर भारत अभियान के अन्तर्गत करीब 21 लाख करोड़ के आर्थिक पैकेज से देश का हर वर्ग आर्थिक मजबूती के साथ आत्मनिर्भर हो रहा है। प्रधानमंत्री मोदी जी के नेतृत्व में देश के बुनियादी विकास के साथ-साथ वैचारिक मुद्दों का भी तेजी से समाधान हो रहा है, जिससे दुनियाभर में भारत का मान-सम्मान बढ़ रहा है। कृषि से सम्बन्धित बिल से देश के किसानों की आय बढ़ेगी और फसल को बाजार में बेचने के लिए स्वतंत्रता मिलेगी।

डाॅ. पूनियां ने पार्टी पदाधिकारियों, कार्यकर्ताओं, निजी स्टाफ, चिकित्साकर्मी, शुभचिंतकों, परिवारजनों, मित्रों, आमजन, पत्रकार बन्धुओं का शुभकामनाओं एवं दुआओं के लिए आभार व्यक्त करता हूँ। आपका सदैव आशीर्वाद मिलता रहे, आपका हूँ, आपके लिए, जब तक जिन्दगी है आपके लिए समर्पित हूँ। उन्होंने कहा कि कोविड-19 के दौरान ड्यूटी करने वाले चिकित्साकर्मी, सुरक्षाकर्मी, सफाईकर्मियों का आभार व्यक्त करता हूँ, जिन्होंने विपरीत परिस्थितियों में भी सेवाएं देकर अपना भरपूर योगदान दिया।

उन्होंने कहा कि ऐलोपेथी, आयुर्वेद, हौम्योपैथी इन सबके बीच ‘भारत की रसोई’ भी एक फार्मेसी ही है, जैसे गर्म नींबू पानी, तुलसी, अदरक, काली मिर्च, नमक के गरारे, नींबू चाय, नीम गिलोय, आंवला इत्यादि के उपयोग से स्वास्थ्य में लाभ मिला। रोजाना प्राणायाम लगभग आधा घण्टे, पर इस एकांतवास की अपनी उपलब्धि मान सकाता हूँ, संगीत की शक्ति को निकट से महसूस किया जहां हरिओम शरण जी की ‘‘हनुमान चालीसा’’ ने ऊर्जा दी वहीं विभिन्न गायकों के भजनों ने बहतर एकाग्रता दी और रोग से ध्यान को विमुख करने में सहायता दी। संगीत में भी समाधान है, निदान है, यह गहराई से महसूस किया, राग भैरवी, राग शिवरंजनी कुछ ऐसी ही राग है पण्डित जसराज, भीमसेन जोशी, सुब्बुलक्ष्मी आदि के कंठ से निकली वाणी ने वास्तव में एक नये प्रयोग का साक्षात्कार करवाया, अद्भुत अनुभव था। उन्होंने कहा कि कोरोना से बचाव के लिए एसएमएस यानि सोशल डिस्टेंसिंग, मास्क एवं सैनेटाइजर बहुत ही जरूरी है, इसलिए मेरा से सभी से विनम्र निवेदन है कि इनका उपयोग निरंतर एवं जरूर करें।

‘‘कोविड-19 से मेरे संघर्ष’’ संवाद को लेकर ट्विटर पर डाॅ. पूनियां से विकास जैन पाली, अविनाश कल्ला जयपुर, भगवान शर्मा आमेर, डाॅ. भवानी सोनी, डाॅ. अनिल बीकानेर, डाॅ. हेमलता करौली, दशरथ सिंह जयपुर ग्रामीण, राहुल यादव, रमेश शर्मा चूरू, गौरव उदयपुर, पूजा यादव अलवर, प्रशांत गौतम शिकागो (यूएसए), सारा गोयल जयपुर, आनन्द शर्मा जयपुर, उदित मेहता जालौर, सुधाकर पुरोहित, मगाराम चैधरी बाड़मेर, चन्द्रशेखर उदयपुर इत्यादि ने सवाल किये।