भूकंप के तेज झटकों से कांपी गुजरात की धरती

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  • 5.5 तीव्रता का भूकंप, 5 मिनट तक झटके महसूस होते रहे
  • दहशत में घरों से बाहर भागे लोग

गुजरात में रविवार रात 8 बजकर 12 मिनट पर भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए। रिक्टर स्केल पर इसकी तीव्रता 5.5 थी। इसका केंद्र कच्छ के भचाऊ में था। सबसे ज्यादा असर भी कच्छ में ही देखा गया। 19 साल पहले यानी 26 जनवरी 2001 को भी कच्छ के भुज में 7.7 तीव्रता का भूकंप आया था। इसमें 13 हजार से ज्यादा लोगों की मौत हुई थी।

भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए। रिक्टर स्केल पर इसकी तीव्रता 5.5 थी

कच्छ में 10 सेकंड धरती हिली
भूकंप के झटके सबसे पहले गुजरात के कच्छ में 10 सेकंड तक महसूस किए गए। इसके बाद सौराष्ट्र में रात 8 :15 बजे 4.8 तीव्रता का आ टर शॉक आया। यह करीब 7 सेकंड तक महसूस किया गया। अहमदाबाद में 8:15 बजे 3.4 तीव्रता के झटके करीब 5 सेकंड तक महसूस किए गए। जामनगर, सुरेंद्रनगर और जूनागढ़ में भी झटके महसूस किए गए।

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कई शहरों में लोग अपने घरों से बाहर निकल आए। कच्छ, मोरबी, राजकोट में कई घरों में दरारे आई हैं। भूकंप आने के बाद मु यमंत्री विजय रूपाणी ने राजकोट, कच्छ और पाटन जिले के कलेक्टरों से फोन पर हालात की जानकारी ली।

गुजरात के साथ-साथ जम्मूू, तुर्की और पुर्तो रिको में भी भूकंप
गुजरात में भूकंप आने के बाद रविवार रात करीब साढ़े आठ बजे ज मू-कश्मीर के कटरा और आसपास के शहरों में भी भूकंप के झटके महसूस किए गए। भूकंप का एपिसेंटर कटरा से 90 किलोमीटर दूर था और तीव्रता 3 थी। वहीं, राजकोट में भूकंप आने से करीब 19 मिनट पहले तुर्की में 5.9 और पुर्तो रिको में 2.5 तीव्रता का भूकंप आया।

6 जून को उत्तर गुजरात में भूकंप आया था
इससे पहले 6 जून को बनासकांठा जिले समेत उत्तर गुजरात के कई इलाकों में 10 सेकंड तक भूकंप के झटके महसूस किए गए थे। रिक्टर पैमाने पर तीव्रता 4.8 थी।

19 साल पहले भूकंप ने तबाही मचाई थी
गुजरात में 26 जनवरी 2001 को 7.7 तीव्रता का भूकंप आया था। भुज और कच्छ में इस दौरान भारी तबाही हुई थी। 10 हजार लोग इस भूकंप के कारण मारे गए थे। 2 हजार शव तो 26 जनवरी को ही निकाले गए थे। इनमें भुज के एक स्कूल के 400 बच्चे भी शामिल थे।