विकास के लिए शांति और सौहार्द का वातावरण जरूरी : मुख्यमंत्री

मुख्यमंत्री अशोक गहलोत
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत

मुख्यमंत्री ने सभी जिलों में शांति और अहिंसा प्रकोष्ठ के कार्यालयों का उद्घाटन किया

जयपुर। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा है कि शांति और अहिंसा हमारी संस्कृति का आधार है। शांति और अहिंसा से ही समाज में आपसी प्रेम, सद्भाव और भाईचारा कायम रखा जा सकता है। उन्होंने कहा कि अशांति, हिंसा और तनाव के माहौल में विकास संभव नहीं है। दुनिया में ऐसे कई देशों के उदाहरण हैं जहां हिंसा ने पूरी मानवता के लिए खतरा पैदा कर दिया है।

मुख्यमंत्री अशोक गहलोत
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत

राष्ट्रपिता महात्मा गांधी ने सत्य, शांति, अहिंसा और सत्याग्रह के आधार पर देश को आजादी दिलाने के लिए लंबा संघर्ष किया। गहलोत ने भारतीय उपमहाद्वीप में शांति स्थापना के लिए पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी के प्रयासों का भी उल्लेख किया और कहा कि उन्होंने शांति और विकास के लिए अपना बलिदान दिया।

मुख्यमंत्री अशोक गहलोत
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गहलोत रविवार को वीसी के माध्यम से अपने सरकारी आवास से सभी जिलों में शांति और अहिंसा प्रकोष्ठ के कार्यालयों के उद्घाटन समारोह को संबोधित कर रहे थे। मुख्यमंत्री ने पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी को उनकी पुण्यतिथि पर श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए कहा कि दिवंगत राजीव गांधी की शहादत को आतंकवाद विरोधी दिवस के रूप में मनाया जाता है। इससे देश के लोगों को हर तरह के खतरों से देश की रक्षा करने की प्रेरणा मिलती है। इस मौके पर उन्होंने हिंसा का विरोध करने और आपसी सौहार्द बनाए रखने की शपथ दिलाई।

मुख्यमंत्री अशोक गहलोत
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत

मुख्यमंत्री ने कहा कि राजस्थान देश का एकमात्र राज्य है जहां शांति और अहिंसा विभाग स्थापित किया गया है। साथ ही विभाग ने इस संबंध में प्रखंड स्तर पर लोगों को प्रशिक्षण भी दिया है। उन्होंने कहा कि जयपुर में बन रहा गांधी संग्रहालय अपनी तरह का एक विशेष संग्रहालय होगा, जिसमें लोगों को महात्मा गांधी के जीवन और उनके कार्यों के बारे में जानने का अवसर मिलेगा। इस बीच, मुख्यमंत्री ने पाली में जिला कलेक्टर के कार्यालय में पंचधातु (पांच धातुओं का मिश्रण) से बनी प्रतिमा का अनावरण किया।

शांति एवं अहिंसा विभाग राज्य सरकार की अनूठी पहल है

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ने 2022 में इस विभाग की स्थापना की थी। इस विभाग का उद्देश्य गांवों और बस्तियों में और राज्य के प्रत्येक निवासी में शांति और अहिंसा की भावना का विकास करना था। उन्होंने कहा कि विभाग के माध्यम से राज्य, संभाग और जिला स्तर पर महात्मा गांधी के जीवन पर आधारित प्रशिक्षण शिविर आयोजित किये जाते हैं। इन प्रशिक्षण शिविरों के माध्यम से दूरदराज के गांवों में हजारों युवा शांति और अहिंसा के महत्व के साथ-साथ महात्मा गांधी के जीवन आदर्शों को भी आत्मसात कर रहे हैं।

राजीव गांधी के आईटी विजन पर आधारित ई-गवर्नेंस में राजस्थान अग्रणी

गहलोत ने कहा कि राजीव गांधी आईटी के महत्व को जानते थे। उन्होंने देश में आईटी की मजबूत नींव रखी जिसके कारण आज हमारे देश के युवाओं की आईटी के क्षेत्र में पूरी दुनिया में विशेष पहचान है। उन्होंने कहा कि युवा नेता राजीव गांधी ने देश को नई दृष्टि दी और उसी दृष्टि के आधार पर आज राजस्थान के लोगों को ई-गवर्नेंस के माध्यम से सार्वजनिक क्षेत्र की अधिक से अधिक सेवाएं तेज गति से मिल रही हैं। राज्य सरकार ने ई-गवर्नेंस के माध्यम से बेहतर कार्यकुशलता, पारदर्शी प्रबंधन और सुशासन का प्रदर्शन किया है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि राजीव गांधी हमारी युवा शक्ति के आदर्श हैं। जब देश आतंकवाद और अलगाववाद के संकट से गुजर रहा था तब वह 42 साल की उम्र में प्रधानमंत्री बने। उन्होंने कहा कि राजीव गांधी ने 21वीं सदी से बहुत पहले हमारे देश को एक नई दृष्टि के साथ अन्य देशों से आगे ले जाने की कल्पना की थी। आज हम इसे साकार होता देख रहे हैं। राजीव गांधी की दूरदृष्टि के आधार पर देश में दूरसंचार मिशन की शुरुआत हुई और उसी के आधार पर देश में सूचना एवं प्रौद्योगिकी क्रांति की शुरुआत हुई।

मृणाल पांडेय ने कहा कि राष्ट्रपिता महात्मा गांधी ने बुराई का मुकाबला शांति और अहिंसा से जनभागीदारी से करना सिखाया। स्वर्गीय राजीव गांधी ने पंचायती राज में महिलाओं को 33त्न आरक्षण देकर लोकतंत्र में जनता की भागीदारी को मजबूत किया। शांति एवं अहिंसा विभाग के निदेशक मनीष शर्मा ने बताया कि निदेशालय द्वारा प्रदेश के सभी क्षेत्रों में गांधी दर्शन के प्रचार-प्रसार के लिये व्यापक स्तर पर कार्यक्रम किये जा रहे हैं। गांधी दर्शन प्रशिक्षण शिविरों के माध्यम से आम जनता को गांधीवादी विचारों से जोड़ा जा रहा है। सतीश राय ने कहा कि विभाग ने गांधी दर्शन में 5000 से अधिक लोगों को प्रशिक्षित किया है। प्रो. बीएम शर्मा ने कहा कि गांधीवादी दर्शन में निहित अहिंसा और भाईचारे वाले आदर्श समाज की स्थापना संभव है।

पुलिस महानिदेशक उमेश मिश्रा ने कहा, महात्मा गांधी के अहिंसा के विचार आज भी समाज में प्रासंगिक हैं। इस अवसर पर सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री टीकाराम जूली, पूर्व शिक्षा राज्य मंत्री गोविन्द डोटासरा, पंजाब के पूर्व उपमुख्यमंत्री सुखजिंदर सिंह रंधावा, मुख्य सचिव उषा शर्मा, शांति एवं अहिंसा विभाग के सचिव नरेश ठकराल, कार्यक्रम में गांधीवादी विचारक कुमार प्रशांत, जीएस बाफना, धर्मवीर कटेवा सहित समस्त संभागायुक्त एवं जिला कलेक्टर उपस्थित थे।

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