गोदरेज ने भी अपने साबुन से फेयर शब्द हटाने का लिया फैसला

नई दिल्ली। दिग्गज कंज्यूमर कंपनी गोदरेज ने अपने सभी साबुन सेगमेंट से फेयर शब्द को हटाने का निर्णय लिया है। दुनियाभर में रंग भेदभाव को लेकर बहस के बाद भारत की सबसे बड़ी एफएमसीजी कंपनी हिंदुस्तान यूनिलिवर, लॉरियल और जॉनसन एंड जॉनसन ने पहले ही यह फैसला ले लिया था।

भारत की दूसरी सबसे बड़ी साबुन निर्माता कंपनी

गोदरेज कंज्यूमर प्रोडक्ट्स लिमिटेड (जीसीपीएल), भारत की दूसरी सबसे बड़ी साबुन निर्माता कंपनी है। अब कंपनी साबुन की सभी कैटेगरी से फेयर शब्द को हटा देगी। जीसीपीएल अपनी हाइजीन कैटेगरी के तहत साबुन के फेयरग्लो ब्रांड को बेचता है जिसमें साबुन, हैंड वॉश और वाइप्स शामिल हैं। बता दें कि जीसीपीएल का ग्लोबल मार्केट में 26 प्रतिशत का योगदान है।

निसाबा ने कहा था कि ब्यूटी प्रोडक्ट का नाम बदलने को तैयार हैं

कंपनी की चेयरपर्सन और एमडी निसाबा गोदरेज ने 4 अगस्त को कहा था कि हम अपने ब्यूटी प्रोडक्ट का नाम बदलने को तैयार है। यह हमारे लिए महत्वपूर्ण ब्रांड है। मुझे लगता है यह हमारे कंज्यूमर के लिए सही रहेगा। हम किसी प्रकार से रंग भेदभाव को बढावा नहीं देना चाहते हैं। उन्होंने यह भी कहा कि इस समय सभी कंज्यूमर प्रोडक्ट्स कंपनियां इस तरह के फैसले ले रही हैं। हालांकि इस पर गोदरेज कंज्यूमर को भेजे गए ईमेल पर प्रतिक्रिया नहीं मिली।

जून में एचयूएल ने फेयर & लवली से हटाया था फेयर शब्द

भारत की सबसे बड़ी एफएमसीजी कंपनी हिंदुस्तान यूनिलिवर ने अपने चार दशक पुराने स्किन केयर ब्रांड फेयर & लवली से फेयर शब्द को हटाने का निर्णय लिया था। बाद में कंपनी ने नया नाम फेयर एंड लवली का नाम बदलकर ग्लो एंड लवली कर दिया है। 1975 में हिंदुस्तान यूनिलीवर ने फेयर एंड लवली नाम की क्रीम लॉन्च की थी। देश में गोरेपन की क्रीम के बाजार का 50-70 फीसदी हिस्सा फेयर एंड लवली के पास ही है। यूनिलिवर कंपनी सिर्फ फेयर एंड लवली ब्रैंड से ही भारत में सालाना 50 करोड़ डॉलर से ज्यादा का कारोबार करती है।

लॉरियल भी हटा चुकी है व्हाइटनिंग, फेयर और लाइटनिंग जैसे शब्द

हाल ही में दुनिया की सबसे बड़ी कॉस्मेटिक कंपनी लॉरियल अपने स्कीन प्रोडक्ट्स से व्हाइटनिंग, फेयर और लाइटनिंग जैसे शब्द को हटा दिया। कंपनी ने इसकी जगह ग्लो शब्द का इस्तेमाल करने का निर्णय लिया था। लॉरियल की ओर से जारी बयान में कहा गया था कि लॉरियल गु्रप स्कीन कलर बदलने वाले प्रोडक्ट्स को लेकर उठ रहे विरोधों को स्वीकार करती है। कंपनी अब अपने सभी प्रोडक्ट्स से फेयर, ब्राइटनिंग और व्हाइटनिंग जैसे शब्दों को हटा देगी। बता कि सबसे पहले जॉनसन एंड जॉनसन ने अपनी त्वचा निखारने वाली क्रीम की बिक्री बंद कर दी थी।

रंगभेद विरोधी मुहिम के बाद फैसला लिया गया था

बता दें कि कुछ माह पहले अमेरिका में अश्वेत जॉर्ज फ्लायड की हत्या के बाद रंगभेद के खिलाफ अभियान चलाया गया था। रंगभेद विरोधी मुहिम #Blacklivesmatter के तहत इन कंपनियों ने अपने उत्पादों के नाम व प्रचार से फेयर, व्हाइट जैसे शब्द हटाना शुरू किया है। एशिया, अफ्रीका और कैरिबियाई देशों में फेयर शब्द को लेकर विवाद हुआ था।