कुलभूषण जाधव की रिहाई के लिए भारत ने पाक से आईसीजे से इतर भी की थी बात: साल्वे

कुलभूषण जाधव, Kulbhushan Jadhav
कुलभूषण जाधव, Kulbhushan Jadhav

वरिष्ठ अधिवक्ता हरीश साल्वे ने कहा है कि भारत को उम्मीद थी कि सेवा निवृत भारतीय नौसेना अधिकारी कुलभूषण जाधव की रिहाई के लिए वह पाकिस्तान को मना लेगा। बता दें कि जाधव को पाकिस्तान की एक सैन्य अदालत ने साल 2017 में जासूसी और आतंकवाद फैलाने के आरोप में मौतड्ड की सजा सुनाई थी। अंतरराष्ट्रीय अदालत में जाधव के मामले में साल्वे भारत की ओर से शीर्ष अधिवक्ता थे।

पूरे ट्रायल के बाद आईसीजे ने पिछले साल जाधव की मौत की सजा पर रोक लगाते हुए पाकिस्तान को इस पर फिर से विचार करने को कहा था। अखिल भारतीय अधिवक्ता परिषद की ओर से आयोजित एक ऑनलाइन लेक्चर सीरीज के दौरान लंदन में मौजूद साल्वे ने कहा कि भारतीय पक्ष लगातार पूछता रहा है कि पाकिस्तान आईसीजे के फैसले पर कैसे अमल करेगा और प्रभावी समीक्षा का प्रस्ताव देने को कहा गया है लेकिन अभी तक कोई जवाब नहीं आया है।

हरीश साल्वे ने कहा भारत को उम्मीद थी कि कुलभूषण जाधव की रिहाई के लिए वह पाकिस्तान को मना लेगा

साल्वे ने कहा, हमें उम्मीद थी कि हमें उम्मीद थी कि शायद दूसरे तरीके से बात करने पर पाकिस्तान जाधव की रिहाई केलिए राजी हो जाए। हमने पाकिस्तान से कहा कि जाधव को जाने दें योंकि यह मामला उनके अहम के लिए बड़ी समस्या बन गया है।

हमें उ मीद थी कि वह जाधव को रिहा कर देंगे, लेकिन ऐसा नहीं हुआ। उन्होंने कहा, हमने पाक को चार-पांच पत्र लिखे। वो केवल मना करते रहे। मुझे लगता है हम ऐसी स्थिति में पहुंगए हैं जहां हमें अब फैसला लेना है कि सही परिणाम के लिए हम आईसीजे वापस जाना चाहते हैं या नहीं योंकि पाकिस्तान की सहयोग करने की कोई मंशा नहीं है