
पटना। बिहार में नीतीश कुमार ने मंगलवार को ‘‘राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) के मुख्यमंत्री” के तौर पर अपना इस्तीफा राज्यपाल को सौंप दिया । अब बुधवार दोपहर 2 बजे नीतीश कुमार महागठबंधन के समर्थन से सीएम पद की शपथ लेंगे । नीतीश कुमार की सरकार को कांग्रेस, राजद और वामदलों का समर्थन प्राप्त होगा । इससे पहले नीतीश कुमार को विधायक दल का नेता चुना गया और उन्होंने राज्यपाल के सामने सरकार बनाने का दावा पेश किया था । राजभवन से शाम 2-4 बजे शपथ ग्रहण का समय तय किया गया है ।

जनता दल यूनाइटेड के नेता नीतीश कुमार आठवीं बार बुधवार को मुख्यमंत्री पद की शपथ लेंगे । इससे पहले वो सात बार इस पद की शपथ ले चुके हैं । साल 2005 के बाद से बीच के कुछ दिनों को छोड़ कर नीतीश लगातार बिहार के मुख्यमंत्री रहे हैं ।
अलग होने का फैसला अकेले का नहीं : नीतीश
नीतीश कुमार ने कहा कि एनडीए से अलग होने का फैसला अकेले उनका नहीं है । उनकी पार्टी के अन्य लोग भी चाहते थे कि वो बीजेपी और एनडीए से बाहर होकर एक बार फिर राज्य के विकास के लिए कार्य करें ।
केंद्रीय मंत्री और बीजेपी नेता अश्विनी चौबे ने एनडीए से अलग होने के बाद मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देने पर नीतीश कुमार को ‘‘अवसरवादी” करार दिया और कहा कि बिहार को ‘‘धोखा” देने वाले उसके विकास की राह में रोड़े अटकाना चाहते हैं ।