पण्डित नेहरू भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन के प्रमुख नेता : अतीक

बालदिवस के मौके पर चाचा नेहरू को किया गया याद

जोधपुर। मारवाड़ मुस्लिम एज्यूकेशनल एण्ड वेलफेयर सोसायटी की ओर से कमला नेहरू नगर स्थित मौलाना आज़ाद कैम्पस में बाल दिवस का कार्यक्रम आयोजित किया गया। सोसायटी के सीईओ मोहम्मद अतीक ने बतौर मुख्य वक्ता कहा कि देश के प्रथम प्रधानमंत्री पण्डित जवाहर लाल नेहरू को बच्चे प्यार से ‘चाचा नेहरू‘ कहकर पुकारा करते थे।

जवाहरलाल नेहरू एक भारतीय उपनिवेशवाद-विरोधी, राष्ट्रवादी, धर्मनिरपेक्ष मानवतावादी व सामाजिक लोकतंत्रवादी लेखक थे। वह 1930 और 1940 के दशक में भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन के प्रमुख नेता थे। 1947 में भारत की स्वतंत्रता के बाद पण्डित नेहरू ने 17 वर्षों तक देश के प्रधानमंत्री के रूप में कार्य किया।

चाचा नेहरू ने 1950 के दशक के दौरान संसदीय लोकतंत्र, धर्मनिरपेक्षता, और विज्ञान और प्रौद्योगिकी को बढ़ावा दिया। एक आधुनिक राष्ट्र के रूप में भारत को मजबूती प्रदान की। जेल में लिखी गई उनकी किताबें, जैसे लेटर्स फ्रॉम ए फादर टू हिज डॉटर (1929), एन ऑटोबायोग्राफी (1936) और द डिस्कवरी ऑफ इंडिया (1946) दुनिया भर में पढ़ी गईं।

इस मौके पर मौलाना आज़ाद यूनिवर्सिटी डिप्टी रजिस्ट्रार मोहम्मद अमीन, फिरोज खान मेमोरियल गल्र्स सीनियर सैकेण्डरी स्कूल प्रिन्सीपल शमीम शेख, मदरसा क्रिसेन्ट स्कूल की वरिष्ठ शिक्षक उम्मे कुलसुम, पीटीआई अरूणा सोलंकी सहित अन्य शिक्षकगण, स्काउट, गाइड एवं एनसीसी स्टूडेन्ट्स मौजूद रहे।

मदरसा क्रिसेन्ट स्कूल के पीटीआई चिन्मय जोशी ने चाचा नेहरू का जीवन परिचय पेश किया। आभार फिरोज खान कैम्पस सीनियर प्रिन्सीपल शबाना टाक ने ज्ञापित किया।

यह भी पढ़ें-पूर्व मंत्री डॉ.राजकुमार शर्मा के जन्मदिवस पर कार्यकर्ताओं ने की सवामणी