पूर्व आईपीएस संजीव भट्ट को सुप्रीम कोर्ट से झटका, याचिका खारिज

IPS Sanjeev Bhatt

10 हजार का जुर्माना लगाया

नई दिल्ली। गुजरात के पूर्व आईपीएस अधिकारी संजीव भट्ट को सुप्रीम कोर्ट से झटका लगा है। जस्टिस बीआर गवई की अध्यक्षता वाली बेंच ने ड्रग्स से जुड़े मुकदमे के निपटारे की समय सीमा तय करने के गुजरात हाई कोर्ट के आदेश के खिलाफ संजीव भट्ट की याचिका खारिज करते हुए दस हजार रुपये का जुर्माना लगाया है। कोर्ट ने कहा कि याचिका आधारहीन है। भट्ट पर आरोप है कि 1996 में उन्होंने एक वकील को ड्रग्स के झूठे केस में फंसाया था।

गुजरात हाई कोर्ट ने इस मामले में राज्य सीआईडी को जांच के लिए कहा था। इसके बाद भट्ट की गिरफ्तारी हुई थी। संजीव भट्ट पर आरोप है कि बनासकांठा का पुलिस प्रमुख रहते हुए 1996 में उनके नेतृत्व में वकील सुमेर सिंह राजपुरोहित को करीब एक किलो मादक पदार्थ रखने के आरोप में गिरफ्तार किया गया था।

राजस्थान  पुलिस ने जांच में खुलासा किया था कि मादक पदार्थ रखने के मामले में कथित तौर पर सुमेर सिंह राजपुरोहित को फंसाया गया था। इसके पीछे राजपुरोहित पर राजस्थान के पाली में अपनी विवादित संपत्ति हस्तांतरित करने के लिए दबाव बनाया गया था।