कर्नाटक में गोभी मंचूरियन और कॉटन कैंडी बैन, दोनों मेें कैंसर के भारी तत्व

गोभी मंचूरियन और कॉटन कैंडी
गोभी मंचूरियन और कॉटन कैंडी

हाल ही में कॉटन कैंडी के हानिकारक प्रभावों को देखते हुए कर्नाटक में इसे बैन कर दिया गया है। गोवा, तमिलनाडु, पुदुचेरी और महाराष्ट्र के बाद अब कर्नाटक में भी कैंसर का कारण बनने वाले फूड कलरिंग एजेंट्स पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। राज्य सरकार द्वारा तय इस किए इस प्रतिबंध का उल्लंघन करने पर जेल होगी। अगर आप भी अक्सर अपने बच्चों को कॉटन कैंडी या फिर दोस्तों के साथ गोभी मंचूरियन का लुत्फ उठाने का मन बना रहे हैं, तो इससे पहले इसके हानिकारक प्रभावों के बारे में जरूर जान लें।

दरअसल, हाल ही में हुए कुछ लैब टेस्ट में पता चला कि एक्सट्रा कलर और सॉस तैयार गोभी मंचूरियन में बड़ी मात्रा में कैंसरकारी पदार्थ पाए गए हैं। इसके नियमित सेवन से कैंसर हो सकता है। इसके अलावा कलर कॉटन कैंडी भी सेहत के लिए हानिकारक साबित हुई है। एक टेस्ट में यह सामने आया कि इन दोनों फूड आइटम्स को तैयार करने के लिए कैंसर की वजह बनने वाले एडिटिव्स रोडामाइन-बी और टाट्र्राजिन का इस्तेमाल किया जा रहा था।

फूड प्रोडक्ट्स में मिले हानिकारक रंग

हानिकारक रंग
हानिकारक रंग

इस जानकारी के सामने आने के बाद कर्नाटक स्वास्थ्य मंत्रालय के अधिकारियों ने इस्तेमाल किए गए एडिटिव्स की क्वालिटी का परीक्षण करने के लिए किनारे मौजूद विभिन्न भोजनालयों और होटलों से इन फूड आइटम्स के लगभग 171 नमूने एकत्र किए, जिसके निष्कर्ष में पाया गया कि इन व्यंजनों में लगभग 107 असुरक्षित आर्टिफिशियल रंग पाए गए, जो चिंताजनक है। इस निष्कर्ष के सामने आते ही तुरंत प्रतिबंध लगाने के लिए कार्रवाई की गई।

रोडामाइन-बी क्या है?

रोडामाइन-बी एक हानिकारक केमिकल कलरिंग एजेंट है, जिसका व्यापक रूप से कपड़ा रंगाई और कागज उद्योग में उपयोग किया जाता है। यह केमिकल अपने हरे रंग के लिए जाना जाता है। तरल पदार्थों के संपर्क में आने पर, इसमें परिवर्तन होता है और यह अपने मूल रंग से गुलाबी या लाल रंग में बदल जाता है। यह केमिकल गोभी मंचूरियन या कॉटन कैंडी जैसे व्यंजनों को बनाने के लिए बड़े स्तर पर इस्तेमाल किया जाता है। एक कार्सिनोजेनिक एजेंट के रूप प्रचलित रोडामाइन-बी के नियमित सेवन से कैंसर का संभावित खतरा होता है।

क्या है टाट्र्राजिन?

टाट्र्राजिन को दूसरा सबसे ज्यादा इस्तेमाल किया जाने वाला फूड कलरिंग एजेंट माना जाता है। कोल्ड ड्रिंक्स, बेक्ड फूड आइटम्स, जिलेटिन बेस्ड प्रोडक्ट्स, अचार और समेत विभिन्न फूड आइटम्स में व्यापक रूप से इस्तेमाल किया जाता है। इस चमकीले पीले रंग को अक्सर फूड आइटम्स को एक नारंगी या गहरा पीला रंग देने के लिए उपयोग किया जाता है। कर्नाटक से पहले पुडुचेरी और तमिलनाडु की सरकारों ने भी कलर कॉटन कैंडी के उत्पादन में रोडामाइन-बी पाए जाने के बाद इसे बनाने और बेचने पर प्रतिबंध लगाने का निर्देश जारी किया है। इसके अलावा उत्तरी गोवा की मापुसा नगर परिषद भी सडक़ के किनारे स्टॉल पर मिलने वाले गोबी मंचूरियन की बिक्री बैन लगा चुकी है।

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