
कॉफी दुनियाभर में लोगों की पसंदीदा पेय रही है। बड़ी संख्या में ऐसे भी लोग हैं जिनके दिन की शुरुआत कॉफी के साथ होती है और दिनभर में 3-4 कप कॉफी पी जाते हैं। कॉफी सेहत के लिए फायदेमंद है या हानिकारक, इसको लेकर लंबे समय से चर्चा होती रही है। इसके अध्ययनों के परिणाम भी मिले-जुले हैं। हालांकि कुछ शोध इस तरफ इशारा करते हैं कि कॉफी का अगर संयमित मात्रा में सेवन किया जाता है तो इससे मौत के खतरे को कम किया जा सकता है। पिछले वर्षों में कई वैज्ञानिक अध्ययनों में दावा किया गया है कि कॉफी पीना सेहत को कई प्रकार से लाभ दे सकता है, इतना ही नहीं इससे गंभीर बीमारियों से मौत का खतरा भी कम हो सकता है। जानिए रोजाना कितने कप कॉफी पीना सुरक्षित
कॉफी पीने से कम होता है असमय मृत्यु का खतरा

हार्वर्ड यूनिवर्सिटी के एक अध्ययन (2015) में पाया गया कि दिन में 3 से 4 कप कॉफी पीने वाले लोगों में कई प्रकार की बीमारियों के कारण असमय मृत्यु का खतरा 15 प्रतिशत तक कम हो सकता है। शोधकर्ताओं के अनुसार, नियमित रूप से कॉफी पीने वाले लोगों में हृदय रोग, स्ट्रोक, टाइप-2 डायबिटीज और न्यूरोलॉजिकल बीमारियों से मृत्यु का जोखिम कम पाया गया। अध्ययनकर्ताओं ने बताया कि पूरे दिन की खपत की तुलना में सुबह की कॉफी के सेवन के ज्यादा बेहतर परिणाम हो सकते हैं। इसके अलावा कॉफी का सेवन अगर दूध-चीनी के बिना किया जाए तो ये ज्यादा प्रभावी हो सकती है।
अध्ययनों में क्या पता चला?
शोधकर्ताओं ने पाया कि कॉफी में कई बायोएक्टिव यौगिक जैसे एंटीऑक्सीडेंट्स, कैफीन, क्लोरोजेनिक एसिड आदि होते हैं जो शरीर में इंफ्लेमेशन को कम करते हैं और मेटाबॉलिज्म को बेहतर बनाते हैं। कोशिकाओं को क्षति से बचाने में भी कॉफी पीने को फायदेमंद पाया गया है। जर्नल ऑफ न्यूट्रिशन में प्रकाशित शोध की रिपोर्ट से पता चलता है कि लिवर, हार्ट, मेटाबॉलिज्म और मस्तिष्क सभी के लिए कॉफी फायदेमंद है पर इसके लाभ तभी मिलते हैं जब इसमें कोई एडिक्टिव जैसे दूध-चीनी न मिलाया जाए।
हृदय रोगों का कम होता है खतरा
शोधकर्ताओं ने बताया कि मध्यम मात्रा में कॉफी का सेवन, विशेष रूप से फिल्टर्ड कॉफी, हृदय रोग के जोखिमों को कम करने में सहायक है। यह संभवत: कॉफी में मौजूद एंटीऑक्सीडेंट और अन्य लाभकारी यौगिकों की उपस्थिति के कारण होता है जो सूजन और ऑक्सीडेटिव तनाव स्ट्रेस को कम करते हैं। रक्त वाहिकाओं के कार्य को बेहतर बनाने में भी कॉफी के सेवन को लाभकारी पाया गया है। हालांकि अत्यधिक कॉफी का सेवन, विशेष रूप से अनफिल्टर्ड कॉफी का संभावित रूप से नकारात्मक असर हो सकता है।
डायबिटीज में लाभप्रद
अध्ययनों से संकेत मिलता है कि ब्लैक कॉफी पीने से मधुमेह के विकसित होने या फिर जिन लोगों को पहले से ही ये दिक्कत है उसे कंट्रोल करने में लाभ मिल सकता है। कॉफी की प्रतिक्रिया में शरीर अधिक इंसुलिन का उत्पादन करता है, जो रक्त शर्करा के स्तर को नियंत्रित करने में सहायक है। हालांकि ध्यान रखें कि इसका संयमित मात्रा में ही सेवन किया जाना चाहिए। इसी तरह ब्लैक कॉफी लिवर की सफाई में मदद करती है और लिवर सिरोसिस, फैटी लिवर और हेपेटाइटिस जैसे रोगों से बचाव कर सकती है।
कितना कॉफी पीना सुरक्षित?
दिन में 2 से 4 कप कॉफी को सामान्यत: सुरक्षित माना जाता है। इससे अधिक मात्रा में कैफीन नुकसानदायक हो सकता है। यहां ध्यान देने वाली बात ये है कि कैफीन सेंसिटिव लोगों में कॉफी बेचैनी, दिल की धडक़न बढऩे जैसी समस्याएं पैदा कर सकती है, इसलिए इसकी मात्रा का ध्यान रखें। कॉफी न केवल थकान दूर करती है, बल्कि जीवन की गुणवत्ता बढ़ा सकती है, बशर्ते कि इसका सेवन संतुलित मात्रा में हो। यह दिल, मस्तिष्क, लिवर और मानसिक स्वास्थ्य पर सकारात्मक असर डाल सकती है, हालांकि अधिक कैफीन कई प्रकार से नुकसानदायक हो सकती है।
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