
स्वैच्छिक रूप से आधार से जोड़ सकेंगे वोटर कार्ड आयोजित
जयपुर । भारत निर्वाचन आयोग द्वारा मतदाताओं के पंजीकरण के लिए भरे जाने वाले प्रपत्रों को सुविधाजनक बनाया गया है। राज्य के मुख्य निर्वाचन अधिकारी प्रवीण गुप्ता ने बताया कि भारत निर्वाचन आयोग के परामर्श से केंद्र सरकार के विधि एवं न्याय मंत्रालय द्वारा निर्वाचन पंजीकरण (संशोधन) नियम 2022 के तहत कुल 12 प्रपत्र 1, 2, 2ए , 3, 6, 7, 8, 11, 11ए, 11बी, 18 एवं 19 में संशोधन किये गए हैं।
संशोधित सभी प्रपत्र एक अगस्त 2022 से प्रभावी होगें। एक अगस्त से ईआरओ नेट और इससे जुड़ी आईटी एप्लीकेशन नेशनल वोटर्स सर्विस पोर्टल (एनवीएसपी पोर्टल), वोटर हैल्पलाइन एप एवं गरुडा एप में नये आवेदन प्रपत्र और प्रक्रिया उपलब्ध होगी। वर्तमान में उपलब्ध सभी मतदाता पंजीकरण फार्म 31 जुलाई 2022 तक ही मान्य रहेंगे। मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने बताया कि नए संशोधन के उपरांत अब निर्वाचक नामावली में नाम जुड़वाने के लिए अर्हता एक जनवरी के स्थान पर वर्ष में 4 बार एक जनवरी, एक अप्रेल, एक जुलाई तथा एक अक्टूबर निर्धारित की गई है।
आयोग द्वारा मतदाताओं के पंजीकरण के लिए काम आने वाले मुख्य प्रपत्र 6, 7 एवं 8 में संशोधन किये गए हैं। संशोधित प्रपत्र-6 अब केवल नए मतदाताओं के पंजीकरण के लिए कर दिया गया है तथा इसमें एक निर्वाचन क्षेत्र से दूसरे निर्वाचन क्षेत्र में स्थानांतरण के लिए आवेदन के प्रावधान को हटाकर संशोधित प्रपत्र 8 में शामिल किया गया है।अनाथ व्यक्ति के प्रकरणों में कानूनी अभिभावक का विवरण अब रिश्तेदारों के विवरण के अंतर्गत दिए जा सकने का संशोधन भी इस प्रपत्र में किया गया है। जन्म और निवास के प्रमाण के लिए दस्तावेज निर्धारित किए गए हैं ताकि प्रपत्रों का त्वरित निस्तारण हो सके। प्रवासी मतदाता के पंजीकरण के लिए आयोग द्वारा निर्धारित फॉर्म 6ए में कोई संशोधन नहीं किया गया है। गुप्ता ने बताया कि प्रपत्र-001 में प्रतिस्थापन ईपिक जारी करने के लिए आवेदन को समाप्त कर प्रपत्र-8 में इसका प्रावधान किया गया है।
प्रपत्र-7 में मतदाता सूची में नाम हटाने के लिए मृत्यु प्रमाण-पत्र संलग्न करने का प्रावधान किया गया है। इसी प्रकार एक ही विधानसभा क्षेत्र के भीतर निवास स्थानांतरण के मामलों के लिए प्रपत्र-8ए को समाप्त कर प्रपत्र-8 में ही इसके लिए प्रावधान किया गया है। आयोग के नवीनतम निर्देशों के अनुसार संशोधित फॉर्म 8 में मतदाता के निवास स्थानातरण, वर्तमान निर्वाचक नामावलियों की प्रविष्टियों में सुधार, प्रतिस्थापन ईपिक एवं दिव्यांगजन के रूप में चिन्हीकरण का प्रावधान किया गया है।
मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने बताया कि आपत्तियों की सूची में सुधार करने के लिए मौजूदा फार्म 11 तथा 11ए के साथ ही एक नया फार्म 11बी प्रस्तावित किया गया है, जिसमें फार्म 8 में प्राप्त एक निर्वाचन क्षेत्र से दूसरे निर्वाचन क्षेत्र में स्थानांतरण कराने के लिए प्राप्त आवेदनों की सूची तैयार की जाएगी। इसी प्रकार से फॉर्म 7, 11, 11ए, और 11 बी के अलावा सभी मतदाता प्रपत्रों में मतदाताओं के आधार विवरण प्राप्त करने का प्रावधान किया गया है। गुप्ता ने बताया कि मतदाता सूची में प्रविष्टियों को प्रमाणित करने और त्रुटिरहित बनाने के लिए मौजूदा मतदाताओं की आधार संख्या एकत्र करने के लिए एक नया फार्म 6-बी अधिसूचित किया गया है।
नवीन प्रपत्र 6बी के माध्यम से मौजूदा मतदाताओं की आधार सूचना एकत्रित की जायेगी। जिसका उद्देश्य मतदाताओं की पहचान स्थापित करना और एक से अधिक निर्वाचन क्षेत्र में एक ही व्यक्ति के नाम के पंजीकरण अथवा एक से अधिक बार उसी निर्वाचन क्षेत्र में पंजीकरण की पहचान करना है ताकि भविष्य में मतदाताओं को बेहतर चुनावी सेवायें उपलब्ध कराईं जा सकें। उन्होंने बताया कि भारत निर्वाचन आयोग के निर्देशों के अनुसार आधार एकत्रीकरण का कार्य एक अगस्त 2022 से ऑनलाइन एवं ऑफलाइन माध्यम से प्रारम्भ किया जाएगा। मतदाता द्वारा आधार नम्बर दिया जाना स्वैच्छिक है। ईआरओ मतदाता सूची में किसी भी प्रविष्टि को आधार संख्या उपलब्ध नहीं कराने पर नहीं हटाएगा। फॉर्म 6बी में मतदाताओं के आधार प्राप्त करने के लिए राज्य के समस्त मतदान केन्द्रों पर 04 सितम्बर, 2022 (रविवार) एवं 18 सितम्बर 2022 (रविवार) को विशेष शिविर आयोजित किए जाएंगे। मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने मतदाताओं से आग्रह किया है कि फार्म 6बी में आधार की सूचना अद्यतन किए जाने के लिए ऑनलाइन माध्यमों एनवीएसपी पोर्टल, वोटर हैल्पलाइन एप का उपयोग करें ताकि कार्य सुगमता से सम्पादित हो सकें।