
मुंबई। झारखंड के गोड्डा से बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे द्वारा उद्धव ठाकरे पर दिए गए विवादित बयान पर महाराष्ट्र से लेकर दिल्ली तक सियायत में उबाल है। दुबे के बयान से भाजपा ने दूरी बनाना शुर कर दिया है। प्रदेश के मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़नवीस ने उनके बयान से दूरी बनाई है। उन्होंने कहा कि उनका बयान एक संगठन के लिए था ना कि मराठी समाज के लिए। उधर राज्य के सांस्कृतिक कार्य मंत्री आशीष शेलार ने महाराष्ट्र विधानसभा में प्रतिक्रिया दी है। हालांकि, उन्होंने किसी का नाम नहीं लिया लेकिन कयास यही लगाए जा रहे हैं कि यह अप्रत्यक्ष रूप से दुबे को जवाब था। उन्होंने बिना किसी का नाम लिए दो टूक कहा, “मराठी व्यक्ति की काबिलियत और पराक्रम पर कोई सवाल खड़ा न करें।” यह बयान उन्होंने महाराष्ट्र मानसून विधानसभा सत्र में दिया।
आशीष शेलार ने कहा, “मराठी समाज की ऐतिहासिक उपलब्धियों को नकारा नहीं जा सकता। देश की पहली नौसेना से लेकर विश्व की पहली फिल्म निर्माण तक मराठी समाज का योगदान अतुलनीय रहा है। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि बीजेपी मराठी समाज के हितों के साथ खड़ी है और किसी भी भाषा-भाषी के साथ अन्याय नहीं होने देगी। इस दौरान शेलार का लहजा तीखा था लेकिन उन्होंने संयम बनाए रखते हुए अपने विचार स्पष्ट रूप से रखे।
दुबे के इस बयान पर हुआ विवाद
गौरतलब है कि बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे ने हाल ही में उद्धव ठाकरे को चुनौती देते हुए कहा था कि अगर उनमें दम है तो महाराष्ट्र के बाहर आकर राजनीति करें, नहीं तो उन्हें “पटक पटक कर मारा जाएगा। उन्होंने हिंदी भाषियों के खिलाफ कथित हिंसा का भी जिक्र किया और मराठी में भी वही बयान सोशल मीडिया पर शेयर किया, जिससे विवाद और गहरा गया है। दुबे के इस बयान पर जहां शिवसेना (यूबीटी) और मनसे ने आक्रामक रुख अपनाया है, वहीं बीजेपी ने इससे साफ तौर पर दूरी बना ली है।