ट्रंप की बड़ी कार्रवाई: ‘एंटीफा’ को बताया आतंकवादी संगठन, कहा- देश के लिए खतरा

राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप
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* एंटीफा को ट्रंप ने घोषित किया आतंकी संगठन
* सोशल मीडिया पोस्ट में कहा- यह आंदोलन नहीं, अपराध है
* संगठन पर हिंसा, तोड़फोड़ और उग्र वामपंथी गतिविधियों का आरोप

Trump Declares Antifa: नई दिल्ली। अमेरिकी राजनीति में एक और बड़ा धमाका करते हुए राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने बुधवार को घोषणा की कि वे ‘एंटीफा’ (Antifa) को अब एक आतंकवादी संगठन के तौर पर देखेंगे। यह ऐलान उन्होंने अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म *ट्रुथ सोशल* पर किया, जिसमें उन्होंने लिखा कि एंटीफा देश की सुरक्षा के लिए एक ‘बीमार, खतरनाक और कट्टरपंथी आपदा’ है।

ट्रंप ने लिखा, “यह विरोध नहीं है, यह अपराध है। वे पेशेवर आंदोलनकारी हैं। इन्हें जेल में होना चाहिए।” उन्होंने कहा कि जो लोग इस नेटवर्क को फंड कर रहे हैं, उन पर भी कड़ी कानूनी कार्रवाई की जाएगी।इससे पहले सोमवार को ओवल ऑफिस में पत्रकारों से बातचीत में ट्रंप ने अवैध आप्रवासन के खिलाफ की गई सरकारी कार्रवाई के विरोध में एंटीफा के प्रदर्शनों को “देश विरोधी” बताया था। ट्रंप ने कहा था कि यह संगठन केवल हिंसा फैलाता है और आम नागरिकों की सुरक्षा को खतरे में डालता है।

ट्रंप ने अपनी पोस्ट में 10 सितंबर को हुए चार्ली किर्क के कथित हत्यारे टायलर रॉबिन्सन का ज़िक्र करते हुए कहा कि यह हत्या वामपंथी उग्र विचारधारा से जुड़ी हो सकती है। रिपोर्ट्स के अनुसार, हमलावर के पास से ऐसे हथियार और गोलियों के खोल बरामद हुए, जिन पर “अरे फासीवादी! पकड़ो!” और इटली के प्रसिद्ध प्रतिरोध गीत “बेला सियाओ” की पंक्तियाँ लिखी थीं।व्हाइट हाउस के डिप्टी चीफ ऑफ स्टाफ स्टीफन मिलर ने भी कहा कि यह समय है जब कट्टरपंथी हिंसा को बढ़ावा देने वाले अज्ञात वामपंथी समूहों पर निर्णायक कार्रवाई की जाए।

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सामरिक और अंतरराष्ट्रीय अध्ययन केंद्र की रिपोर्ट बताती है कि एंटीफा कोई औपचारिक संगठन नहीं बल्कि एक ढीला-ढाला नेटवर्क है, जो खुद को ‘फासीवाद और नस्लवाद’ के विरोध में खड़ा बताता है। इसके सदस्य आमतौर पर काले कपड़े और मास्क में रहते हैं और अपनी गतिविधियाँ सोशल मीडिया और एन्क्रिप्टेड नेटवर्क्स के ज़रिए संचालित करते हैं।मई 2020 में भी ट्रंप ने इसी तरह का ऐलान किया था, लेकिन तब यह केवल एक चेतावनी के रूप में देखा गया था। इस बार उन्होंने साफ कर दिया कि एंटीफा के खिलाफ सरकार कानूनी और कड़ी कार्रवाई की ओर बढ़ेगी।