महाराष्ट्र व राजस्थान में करीबी रिश्ता, महाराष्ट्र के विकास में प्रवासी राजस्थानियों का बड़ा योगदान: हरिभाऊ किसनराव बागडे

राज्यपाल हरिभाऊ किसनराव बागडे से मुलाकात करते माणक पत्रिका व दैनिक जलतेदीप के प्रधान संपादक पदम मेहता।
राज्यपाल हरिभाऊ किसनराव बागडे से मुलाकात करते माणक पत्रिका व दैनिक जलतेदीप के प्रधान संपादक पदम मेहता।

पदम मेहता ने राज्यपाल हरिभाऊ किसनराव बागडे को राजस्थानी मासिक ‘माणक’ के चुनिंदा अंक किए भेंट

जलतेदीप, जयपुर। राजस्थान के नव नियुक्त राज्यपाल हरिभाऊ किसनराव बागडे ने बुधवार को पद एवं गोपनीयता की शपथ ली। इस अवसर पर दैनिक जलतेदीप एवं राजस्थानी मासिक ‘माणक’ के प्रधान संपादक पदम मेहता भी राजभवन में मौजूद रहे।

शपथ ग्रहण के बाद राज्यपाल बागडे की पत्रकार वार्ता में मेहता द्वारा पूछे गए सवाल कि महाराष्ट्र में मिनी राजस्थान बसता है, आप राजस्थान के राज्यपाल के रूप में महाराष्ट्र व राजस्थान के संबंधों को और मजबूत बनाने के लिए क्या करना चाहेंगे। राज्यपाल महोदय ने कहा कि महाराष्ट्र व राजस्थान में वास्तव में बहुत करीबी रिश्ता है। महाराष्ट्र में भारी संख्या में प्रवासी राजस्थानी बसते हैं जिनका महाराष्ट्र के विकास में बहुत बड़ा योगदान है।

दोनों प्रदेशों में औद्योगिक व सांस्कृतिक जुड़ाव में बढ़ोतरी के प्रयास करेंगे: राज्यपाल बागडे

उन्होंने कहा कि मेरे स्वयं के क्षेत्र छत्रपति संभाजी नगर और जालना में तथा आसपास के दूसरे स्थानों पर भी बहुत से राजस्थानी रहते हैं। मेरे शपथ ग्रहण समारोह में भी मेरे क्षेत्र के कुछ राजस्थानी मित्र व कार्यकर्ता जयपुर आए हैं। महाराष्ट्र और राजस्थान का एक निकट का रिश्ता बना हुआ है। प्रयास करेंगे कि दोनों के रिश्तों में मिल जुलकर सहकारिता की सोच के तहत दोनों प्रदेशों में औद्योगिक व सांस्कृतिक जुड़ाव में बढ़ोतरी के साथ राष्ट्र की अर्थव्यवस्था को मजबूत करने के लिए भरपूर कार्य किया जाए। सहकारिता के माध्यम से दोनों प्रदेशों के विकास के लिए कार्य होगा।
प्रेस वार्ता के बाद में पदम मेहता ने राज्यपाल महोदय से उनके कक्ष में मुलाकात कर उन्हें राजस्थानी मासिक ‘माणक’ के कुछ चुनिंदा अंक तथा दैनिक जलतेदीप की प्रति भेंट की।

यह भी पढ़ें:भूजल (संरक्षण और प्रबंध) प्राधिकरण विधेयक प्रवर समिति को भेजा