सीएम गहलोत ने कहा- उद्योगपति के कर्ज केंद्र सरकार ने माफ किए, लेकिन किसानों के नहीं

जयपुर । मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने पीएम मोदी को पत्र लिखकर राष्ट्रीयकृत और वाणिज्यिक बैंक से किसानों के ऋण माफ करने की मांग की हैं। सीएम गहलोत ने कहा कि उद्योगपति के कर्ज केंद्र सरकार ने माफ किए, लेकिन किसानों का कर्ज माफ नहीं किया। मुख्यमंत्री गहलोत ने कहा, प्रधानमंत्री को पत्र लिखकर कर्जमाफी के बारे में पुन: ध्यान दिलाना पड़ा, क्योंकि 18 दिसंबर को PM ने बीजेपी द्वारा आयोजित मध्यप्रदेश के किसान सम्मेलन में कहा कि राजस्थान में किसान कर्जमाफी का इंतजार कर रहे हैं,जबकि ऐसा नहीं है,वास्तविकता दूसरी है।

कोई भी किसान ऐसा नहीं है जो राजस्थान सरकार के अधीन आने वाले सहकारी बैंकों से कर्जमाफी का इंतजार कर रहा हो। कर्जमाफी का इंतजार वही बचे हुए किसान कर रहे हैं, जिन्होंने केंद्र सरकार के अधीन राष्ट्रीयकृत एवं वाणिज्यिक बैंकों से कर्ज लिया और केंद्र सरकार ने उनके कर्ज माफ नहीं किए हैं। मुख्यमंत्री गहलोत ने कहा कि NDA सरकार ने किसानों की आय दोगुनी करने का वादा किया था, लेकिन आपकी सरकार की नीतियों और आज की परिस्थितियों को देखकर यह वादा पूरा होता हुआ नहीं लग रहा है। केंद्र सरकार को अपना अहम छोड़कर अविलंब किसानों से संवाद स्थापित करना चाहिए. राष्ट्रीयकृत,वाणिज्यिक एवं भूमि विकास बैंकों के ऋणी किसानों के कर्जमाफ कर उन्हें राहत दे।

मुख्यमंत्री गहलोत ने कहा कि यूपीए सरकार ने राष्ट्रीयकृत और वाणिज्यिक बैंकों से देशभर के किसानों के 72 हजार करोड़ रुपए के कर्ज माफ किए थे। NDA सरकार आगे आकर इस तरह किसानों की कर्जमाफी क्यों नहीं करती? बीजेपी के नेता भ्रम फैलाकर राजस्थान के किसानों को भड़का रहे हैं. वहीं किसान एक महीने से धरने पर बैठे हुए हैं। उनसे अभी तक कोई सकारात्मक संवाद नहीं हुआ है। मीडिया के मुताबिक 40 से अधिक किसानों की मौत हो गई है। अगर केंद्र सरकार ये बिल लाने से पहले किसान संगठनों,कृषि विशेषज्ञों,राजनीतिक दलों से संवाद स्थापित करती। तो इस तरह की परिस्थितियां पैदा नहीं होती। किसानों की समस्याओं का समाधान ना करने के कारण उनके दिल-दिमाग में सरकार के प्रति भंयकर आक्रोश है।