क्या आप जानते हैं रोज सनस्क्रीन क्रीम लगाने के फायदे-नुकसान

सनस्क्रीन क्रीम
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हम में से कई लोग सोचते हैं कि सनस्क्रीन सिर्फ गर्मियों में या तभी लगानी चाहिए जब तेज धूप हो, लेकिन क्या आप जानते हैं कि सूरज की किरणें सिर्फ गर्मियों में ही नहीं, बल्कि साल भर हमारी त्वचा को नुकसान पहुंचा सकती हैं? यही कारण है कि डम्रोट्रोलॉजिस्ट रोजाना सनस्क्रीन लगाने की सलाह देते हैं, फिर चाहे आप घर पर हों, बाहर हों या आसमान में काले बादल छाए हों। आइए विस्तार से जानें इसके बारे में। क्या आप जानते हैं रोज सनस्क्रीन क्रीम लगाने के फायदे-नुकसान

हर मौसम में क्यों जरूरी है सनस्क्रीन?

सनस्क्रीन क्रीम
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हमें यह समझना होगा कि सूरज सिर्फ गर्मी ही नहीं, बल्कि कुछ ऐसी किरणें भी छोड़ता है जो हमारी त्वचा के लिए हानिकारक हो सकती हैं। इनमें सबसे प्रमुख हैं वी और यूवीबी किरणें। यूवीबी किरणें मुख्य रूप से त्वचा की ऊपरी परत को नुकसान पहुंचाती हैं और सनबर्न का कारण बनती हैं। वहीं, वी किरणें त्वचा की गहरी परतों तक पहुंच सकती हैं और समय से पहले बुढ़ापा, झुर्रियां और यहां तक कि स्किन कैंसर का भी खतरा बढ़ा सकती हैं। अब सवाल यह है कि जब धूप नहीं होती, या बादल छाए रहते हैं, तो क्या इन किरणों का खतरा टल जाता है? जवाब है, नहीं! यूवीए किरणें बादलों को भी आसानी से पार कर सकती हैं। इसका मतलब है कि भले ही आपको सीधी धूप महसूस न हो, आपकी त्वचा लगातार इन हानिकारक किरणों के संपर्क में रहती है।

एक्सपट्र्स क्यों देते हैं हर दिन सनस्क्रीन लगाने की सलाह?

हमें अपनी त्वचा को यूवीए की किरणों से बचाना चाहिए और इसके लिए हर दिन सनस्क्रीन लगाना जरूरी है, चाहे मौसम कैसा भी हो।

बुढ़ापे के लक्षणों से बचाव

यूवीए किरणें त्वचा के कोलेजन और इलास्टिन को नुकसान पहुंचाती हैं, जो त्वचा को जवां और लचीला बनाए रखते हैं। हर दिन सनस्क्रीन लगाने से इन किरणों के प्रभाव को कम किया जा सकता है और झुर्रियों, महीन रेखाओं और त्वचा के ढीलेपन को रोका जा सकता है।
स्किन कैंसर का खतरा कम: सूरज की हानिकारक किरणें त्वचा कैंसर का एक प्रमुख कारण हैं। नियमित रूप से सनस्क्रीन लगाने से इस गंभीर बीमारी के खतरे को काफी हद तक कम किया जा सकता है।
सनबर्न से बचाव: भले ही बादल छाए हों, ङ्कक्च किरणें अभी भी मौजूद रहती हैं और सनबर्न का कारण बन सकती हैं, खासकर सेंसिटिव स्किन वाले लोगों के लिए।
त्वचा की रंगत में सुधार: सूरज की किरणें त्वचा पर काले धब्बे और असमान रंगत पैदा कर सकती हैं। सनस्क्रीन लगाने से इन समस्याओं से बचाव होता है और त्वचा की रंगत एक समान बनी रहती है।

कौन-सी सनस्क्रीन है सही?

अब जब यह समझ आ गया है कि हर दिन सनस्क्रीन लगाना जरूरी है, तो यह जानना भी महत्वपूर्ण है कि कौन सा सनस्क्रीन आपके लिए सही है। एक्सपट्र्स सलाह देते हैं कि ऐसे सनस्क्रीन का चुनाव करें जिसमें कम से कम स्क्कस्न 30 हो और जो ङ्क्र और ङ्कक्च दोनों तरह की किरणों से सुरक्षा प्रदान करे (ब्रॉड-स्पेक्ट्रम)। अपनी त्वचा के प्रकार के अनुसार सनस्क्रीन का चुनाव करना भी जरूरी है।

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