शिमला। हिमाचल प्रदेश में मानसून का प्रकोप लगातार बढ़ता जा रहा है। मौसम विभाग ने आगामी चार दिनों तक राज्य में भारी वर्षा की चेतावनी जारी की है। 6 अगस्त तक राज्य के विभिन्न जिलों में येलो और ऑरेंज अलर्ट घोषित किए गए हैं। प्रशासन और आमजन को सतर्क रहने की अपील की गई है।
भारी वर्षा के लिए ऑरेंज और येलो अलर्ट
मौसम विभाग ने 3 अगस्त को शिमला, सोलन और सिरमौर जिलों में येलो अलर्ट जारी किया है। 4 और 5 अगस्त को स्थिति और गंभीर होगी। 4 अगस्त को सिरमौर, कुल्लू, कांगड़ा, ऊना और बिलासपुर में बहुत भारी वर्षा की संभावना जताते हुए ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है। इसी दिन शिमला, सोलन, चम्बा, मंडी और हमीरपुर में येलो अलर्ट रहेगा। 5 अगस्त को कांगड़ा, मंडी, सोलन और सिरमौर में ऑरेंज अलर्ट रहेगा, जबकि ऊना, हमीरपुर, बिलासपुर, चम्बा, कुल्लू और शिमला में येलो अलर्ट रहेगा। 6 अगस्त को कांगड़ा, मंडी, शिमला और सोलन में येलो अलर्ट रहेगा।
ऊना में सबसे अधिक बारिश, स्कूल-कॉलेज बंद
बीते 24 घंटों में सबसे अधिक वर्षा ऊना में दर्ज की गई, जहां 222 मिमी बारिश से स्वां नदी उफान पर आ गई। चम्बा के जोत में 160 मिमी, नंगल डैम में 140 मिमी और बिलासपुर में 120 मिमी वर्षा हुई। ऊना में जलभराव की स्थिति गंभीर हो गई है, जिससे दुकानों और घरों में पानी भर गया। जिला प्रशासन ने एहतियातन स्कूल, कॉलेज, आईटीआई और आंगनवाड़ी केंद्रों को बंद रखने का आदेश दिया है।
पौंग बांध से कभी भी छोड़ा जा सकता है पानी
कांगड़ा जिले में लगातार बारिश से पौंग डैम का जलस्तर तेजी से बढ़ रहा है। भाखड़ा व्यास प्रबंधन बोर्ड (BBMB) ने अलर्ट जारी करते हुए कहा है कि डैम से कभी भी अतिरिक्त पानी छोड़ा जा सकता है, जिससे निचले क्षेत्रों में बाढ़ का खतरा है।
401 सड़कें और एक राष्ट्रीय राजमार्ग बंद
राज्यभर में बारिश और भूस्खलन के कारण एक राष्ट्रीय राजमार्ग (एनएच-505) और कुल 401 सड़कें बंद हो गई हैं। मंडी जिले में सबसे अधिक 174 सड़कें बाधित हैं, जबकि चम्बा में 111 और कुल्लू में 67 सड़कें बंद पड़ी हैं। बिजली और पानी की आपूर्ति भी बुरी तरह प्रभावित हुई है।