महंगाई राहत कैंप का विरोध कर रहे राजस्व कर्मचारियों अधिकारियों की सीएम से मुलाकात

महंगाई राहत कैंप
महंगाई राहत कैंप

कैंप को सफल बनाने का किया संकल्प

जयपुर। महंगाई राहत कैंप का विरोध कर रहे राजस्व कर्मचारियों और अधिकारियों के बीच मुख्यमंत्री अशोक गहलोत से रविवार को आपसी बातचीत होकर समझौता हो गया। इस समझौते के बाद राजस्व कर्मचारियों ने राहत शिविर कैंप के बहिष्कार नहीं करने की घोषणा कर दी ।

सीएम का सकारात्मक रवैया अपनाने का आश्वासन

महंगाई राहत कैंप
महंगाई राहत कैंप

सीएम गहलोत ने अपने सरकारी निवास पर राजस्थान राजस्व सेवा परिषद के तीनों संगठन तहसीलदार, कानूनगो औरपटवार संघ के प्रतिनिधियों से मुलाकात की। सीएम गहलोत ने उनकी मांगों पर सकारात्मक रवैया अपनाने की बात कही और कहा कि उनकी मांगों पर सरकार गंभीरता से विचार कर निर्णय करेगी। इसके बाद राजस्व कर्मचारियों और अधिकारियों ने राहत कैंप को सफल बनाने का संकल्प किया।

हड़ताल ने बढ़ाई सरकार की चिंता

हड़ताल के चलते सरकार में इस बात की चिंता बढ़ गई थी कि 24 अप्रैल से आयोजित होने वाले राहत कम कैसे सफल होंगे । इसी समस्या के समाधान के लिए सीएम ने विभिन्न अधिकारियों को इस कार्य के लिए लगाया था और रविवार को उनसे आपसी बातचीत करके फैसला पक्ष में कराया।

अब संकट टला, यह थी परेशानी

मुख्यमंत्री अशोक गहलोत
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत

एक तरफ प्रदेश सरकार 24 अप्रैल से महंगाई राहत कैंप लगाकर आगामी विधानसभा चुनाव के लिए जनता को लुभाने की कोशिश कर रही है। वहीं, दूसरी तरफ कैंप चलाने के लिए जिन सरकारी कर्मचारियों का सरकार को साथ चाहिए, उन्होंने हड़ताल की घोषणा कर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के पसीने छुड़ा दिए हैं। हालांकि सरकार कर्मचारियों को मनाने की भरपूर कोशिश कर रही है, उनकी कोशिश रंग भी लाने लगी है, लेकिन इसके लिए सरकारी कर्मचारियों का इस कैंप में तन मन से काम करना आवश्यक होगा। यदि ऐसा नहीं हुआ सरकार की योजना पर पानी फिर सकता है, जो उसे विधानसभा चुनाव में सीधा प्रभावित कर सकती है।

मुख्यमंत्री अशोक गहलोत
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत

वेतन विसंगति, पदोन्नति व अन्य मांगों को लेकर 12 हजार पटवारी, चार हजार गिरदावर, एक हजार नायब तहसीलदार व करीब छह सौ तहसीलदार 20 और 21 अप्रेल को अवकाश पर रहे। उन्होंने तहसील व जिला मुख्यालय पर धरना दिया। इसके सभी ने सोमवार को कार्य बहिष्कार की चेतावनी दे रखी है। अधिकारियों ने बातचीत की लेकिन बात नहीं बनी। तहसीलदार सेवा परिषद् अध्यक्ष विमलेन्द्र राणावात ने कहा कि लिखित में मांग नहीं माने जाने तक कार्य बहिष्कार जारी रहेगा।

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