पशुपालन योजनाओं पर डॉ. समित शर्मा की सख्त समीक्षा, अधिकारियों को मिले नए निर्देश

जयपुर में आयोजित राज्य स्तरीय समीक्षा बैठक में पशुपालन, गोपालन और मत्स्य विभाग के शासन सचिव डॉ. समित शर्मा ने विभागीय योजनाओं की प्रगति की गहन समीक्षा की। उन्होंने पशुपालकों को अधिकतम लाभ दिलाने, टीकाकरण, बीमा और सेक्स सॉर्टेड सीमन तकनीक के बेहतर उपयोग के निर्देश दिए। साथ ही अनुशासन, निष्ठा और पारदर्शिता पर भी बल दिया।

Dr. Samit Sharma Reviews Rajasthan Animal Husbandry Schemes
image source : via Animal Husbandry
  • बीमा और टीकाकरण पर जोर : पशुपालकों को योजनाओं का लाभ समय पर मिले
  • सेक्स सॉर्टेड सीमन तकनीक : अधिकारियों को मॉनिटरिंग और प्रशिक्षण के आदेश
  • अनुशासन व पारदर्शिता : पशु चिकित्सा संस्थाओं की रैंकिंग प्रणाली और सख्त निर्देश

Reviews Rajasthan Animal Husbandry Schemes  जयपुर। जयपुर में आयोजित पशुपालन विभाग की राज्य स्तरीय समीक्षा बैठक में शासन सचिव डॉ. समित शर्मा ने विभागीय योजनाओं की गहन समीक्षा की। उन्होंने कहा कि पशुपालकों को योजनाओं का अधिकतम लाभ दिलाने के लिए अधिकारियों को पूरी निष्ठा से कार्य करना होगा। बैठक में मुख्यमंत्री मंगला पशु बीमा योजना, टीकाकरण अभियान, मोबाइल वेटरिनरी यूनिट और सेक्स सॉर्टेड सीमन तकनीक के बेहतर उपयोग पर विशेष चर्चा हुई। डॉ. शर्मा ने बताया कि राजस्थान देश का पहला राज्य है जहां सबसे अधिक संख्या में पशुओं का बीमा किया गया है।

Dr. Samit Sharma Reviews Rajasthan Animal Husbandry Schemes
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उन्होंने अधिकारियों को 30 सितंबर तक बीमा कार्य पूरा करने और 1 अक्टूबर से नए वित्तीय वर्ष का बीमा कार्य आरंभ करने के निर्देश दिए। उन्होंने सेक्स सॉर्टेड सीमन तकनीक की धीमी प्रगति पर असंतोष जताते हुए कहा कि यह तकनीक पशुपालकों को चार गुना लाभ दे सकती है। उन्होंने मॉनिटरिंग बढ़ाने, प्रशिक्षण देने और कृत्रिम गर्भाधान के सभी आंकड़े पशुधन एप पर दर्ज करने के आदेश दिए।

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डॉ. शर्मा ने लंपी रोग प्रतिरोधक टीकाकरण की समीक्षा करते हुए अधिकारियों से समय पर शत प्रतिशत टीकाकरण सुनिश्चित करने को कहा। उन्होंने पशु चिकित्सा संस्थाओं में दवाओं और उपकरणों की उपलब्धता और उपयोग पर विशेष जोर दिया और कहा कि जहां औषधियों का समय पर उपयोग नहीं हो रहा है, उन्हें अन्य संस्थाओं में भेजा जाए।

उन्होंने बताया कि नई पशु चिकित्सा संस्थाओं के लिए अब तक 444 भवनों के पट्टे प्राप्त हो चुके हैं और बाकी जल्द पूरे होंगे। उन्होंने केपीआई आधारित रैंकिंग प्रणाली को और प्रभावी बनाने के निर्देश दिए और शीर्ष जिलों की सराहना की। समीक्षा बैठक के दौरान डॉ. शर्मा ने जिलों के संयुक्त निदेशकों को अनुशासन, निष्ठा और समय पर उपस्थिति सुनिश्चित करने के आदेश दिए।

उन्होंने उत्कृष्ट कार्य करने वाले पशु चिकित्सकों से व्यक्तिगत रूप से बात की और अन्य चिकित्सकों को उनसे प्रेरणा लेने की सलाह दी। इस अवसर पर विभाग के निदेशक डॉ. आनंद सेजरा ने ग्रामीण सेवा शिविरों को योजनाओं के प्रचार-प्रसार का अवसर बताते हुए सभी अधिकारियों को ईमानदारी और समयबद्धता से कार्य करने की अपील की।