जयपुर की सड़कें बनीं हादसों का न्यौता! बारिश के बाद भी नहीं सुधरी हालत

ashok gehlot
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🔹 अजमेर रोड, सिरसी रोड जैसे इलाकों में भयंकर गड्ढों से गुजर रहे वाहन
🔹 मुख्यमंत्री का क्षेत्र भी टूटी सड़कों से बेहाल, निर्देशों का नहीं असर
🔹 बारिश के बाद न मरम्मत हुई, न हालात सुधरे, हादसे आम बात बन गई

Jaipur’s Broken Roads: No Relief Even : जयपुर की स्मार्ट सिटी वाली तस्वीर इन दिनों कई इलाकों में गड्ढों और धूल में गुम हो चुकी है। आज जब मेरा जाना अजमेर-सीकर रोड, कालवाड़ रोड, सिरसी रोड, धावास और वैशाली नगर की तरफ हुआ, तो वहां की सड़कें किसी युद्ध क्षेत्र से कम नहीं लगीं।

स्थानीय लोगों ने बताया कि बारिश के समय हालात भयावह थे, और अब जब मौसम साफ है, तब भी किसी तरह की मरम्मत नहीं की गई। हर जगह गहरे गड्ढे, टूटी डिवाइडर, उखड़ा डामर और सड़क पर फंसे वाहन – ये रोज़मर्रा की कहानी बन चुकी है।

सबसे हैरान करने वाली बात यह है कि कुछ दिन पहले मैं पत्रकार कॉलोनी की तरफ गया, जो खुद मुख्यमंत्री का विधानसभा क्षेत्र है। वहाँ मुख्यमंत्री अशोक गहलोत खुद अधिकारियों के साथ दौरा कर चुके हैं, निर्देश भी दिए गए थे, लेकिन जमीन पर सुधार का नामोनिशान नहीं दिखा।

ट्रैफिक जाम, एक्सीडेंट और असुविधा अब जयपुरवासियों के लिए रोज़ की परेशानी है। आम लोग कह रहे हैं कि पहली बार देखा है जब बारिश के महीनों बाद भी सड़कें ऐसे ही टूटी पड़ी हैं।

जयपुर जिले से मुख्यमंत्री, दोनों उपमुख्यमंत्री और उद्योग मंत्री, सभी विधायक हैं। इसके बावजूद जयपुर के इस हाल पर सिर्फ अफसोस ही जताया जा सकता है।

सरकार को चाहिए कि वह जयपुर की सड़कों को लेकर एक विशेष बैठक बुलाए, जहां सिर्फ फाइलें नहीं, जमीनी कार्यवाही पर फोकस हो। साथ ही इन इलाकों के कामों की निगरानी के लिए अलग से एक मॉनिटरिंग सेल बनाई जाए, ताकि विकास सिर्फ घोषणाओं तक सीमित न रहे।