डोर टू डोर कचरा संग्रहण व्यवस्था अब नगर निगम स्वयं के स्तर पर संचालित करेगा

जयपुर नगर निगम ग्रेटर क्षेत्र में संचालित डोर टू डोर कचरा संग्रहण व्यवस्था अब नगर निगम स्वयं के स्तर पर संचालित करेगा। नगर निगम में पिछले दिनों हुई बोर्ड की पहली बैठक में अधिकांश पार्षदों ने एकजुट होकर मौजूदा कंपनी को हटाने की बात कही थी।

मेयर सौम्या गुर्जर ने इस मामले में नगर निगम आयुक्त को रिव्यू करने के निर्देश दिए थे। पिछले दिनों आयुक्त ने एक बैठक करके डोर टू डोर का काम नगर निगम स्तर पर करवाने की तैयारियां शुरू करने का निर्णय किया।

इस काम के लिए आयुक्त ने 6 अधिकारियों की एक कमेटी भी बनाई है। इस कमेटी को हूपर, लेबर और आरसी कॉम्पेक्टर सहित अन्य संसाधनों की व्यवस्था करने के लिए टेण्डर करने के निर्देश दिए है। कमेटी को 8 फरवरी तक टेण्डर की शर्ते तैयार कर रिपोर्ट सौंपने के लिए कहा है।

बीवीजी कंपनी की वर्किंग को लेकर शिकायत

पिछले दिनों जब बोर्ड बैठक हुई तो उसमें अधिकांश पार्षदों ने डोर टू डोर कचरा संग्रहण का काम करने वाली फर्म बीवीजी कंपनी की वर्किंग को लेकर शिकायत की। पार्षदों का आरोप था कि अधिकांश स्थानों पर कंपनी की गाडिय़ां कचरा लेने प्रतिदिन आने के बजाए 2 या 3 दिन के अंतराल में आती है।

इसके अलावा कंपनी को वाहन चालक के साथ एक हेल्पर रखने का भी आदेश है, जो लोगों के घरों से कचरा पात्र लेकर कचरे को गाड़ी में डाल सके। लेकिन हेल्पर नहीं रखने के कारण मौजूद समय में लोगों को खुद गाड़ी में कचरा डालना पड़ता है।

दुकानदारों से अवैध वसूली, बंधी के तौर पर 500 रूपए तक करते है वसूली

इसके अलावा पार्षदों ने कंपनी के कर्मचारियों पर बाजार में दुकानदारों से अवैध वसूली करने का भी आरोप लगाया। पार्षदों का आरोप था कि कंपनी के लोग देर शाम दुकान बंद होने के समय कचरा लेने पहुंचते है और हर माह की बंधी के तौर पर 500 रुपए तक वसूलते है। जबकि कचरा संग्रहण का काम पूरी तरह नि:शुल्क है।