
जयपुर। कांग्रेस शासित राजस्थान में भी कृषि बिलों (विधेयकों) का विरोध लगातार जारी है। कृषि बिलों के विरोध में शुक्रवार को कांग्रेस के प्रदेश कार्यालय पर प्रेस वार्ता आयोजित की गई। प्रेस वार्ता को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कृषि बिलों के विरोध में केंद्र सरकार पर जमकर हमला बोला।
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कृषि विधेयकों को लेकर शुक्रवार को केन्द्र की नरेंद्र मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि विधेयक बड़े शर्मनाक तरीके से पास किए गए हैं। कृषि से जुड़े तीन विधेयकों को संसद में पारित किए जाने की ओर इशारा करते हुए उन्होंने कहा, ”जो कानून बनाया गया उसमें न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) का प्रावधान क्यों नहीं किया गया, उससे आप समझ सकते हैं कि हालात बड़े गंभीर हैं और जिस रूप में ये तीनों विधेयक पास किए गए, वो भी बड़े शर्मनाक तरीके से किए गए हैं।
उन्होंने कहा कि ये फासीवादी सोच के लोग हैं, लोकतंत्र में इनका विश्वास नहीं है इसलिये तमाम काम वो कर रहे हैं जिससे जनता का ध्यान हटाया जा सके। उन्होंने कहा, ”विधेयको में किये गये सारे प्रावधान किसान विरोधी हैं, मंडियां समाप्त हो जायेंगी और मुझे बहुत बड़ी बर्बादी के लक्षण दिख रहे हैं।
खेत खलिहान को पूंजीपतियों के हाथ गिरवी रखने का षडय़ंत्र: सुरजेवाला
वहीं पीसीसी मुख्यालय में एआईसीसी महासचिव रणदीप सिंह सुरजेवाला ने प्रेस को संबोधित करते हुए कहा, बीजेपी ने हरित क्रांति को हराने और खेत खलिहान को पूंजीपतियों के हाथ गिरवी रखने का षडय़ंत्र रचा है। किसान के भाग्य में बर्बादी और बदहाली की गाथा तीन काले कानूनों से लिख डाली है। कांग्रेस पूरी तरह किसानों के साथ खड़ी है।
किसानों का हक छीनकर निजी कंपनियों को देना चाहती है भाजपा सरकार: डोटासरा
राजस्थान कांग्रेस कमेटी के प्रदेशाध्यक्ष गोविंद ङ्क्षसह डोटासरा ने कहा, किसान विरोधी बिल के माध्यम से भाजपा सरकार किसानों का हक छीनकर निजी कंपनियों को देना चाहती है। मोदी सरकार अपने इस मंसूबे में कभी कामयाब नहीं होगी। हम देश के किसानों के साथ उनकी इस लड़ाई में साथ खड़े हैं।