नौसेना को शत्रुओं से निपटने के लिए हर समय तैयार रहना होगा : एडमिरल दिनेश कुमार

एडमिरल दिनेश कुमार
एडमिरल दिनेश कुमार

नयी दिल्ली। एडमिरल दिनेश कुमार त्रिपाठी ने नौसेना के 26वें प्रमुख के रूप में कार्यभार संभालने के बाद मंगलवार को कहा कि भारतीय नौसेना को समुद्री क्षेत्र में उभरती चुनौतियों के मद्देनजर संभावित शत्रुओं से निपटने के लिए हर समय अभियान की दृष्टि से तैयार रहना होगा। संचार और इलेक्ट्रॉनिक युद्ध विशेषज्ञ एडमिरल त्रिपाठी ने आर हरि कुमार के सेवानिवृत्त होने के बाद यह जिम्मेदारी संभाली है। एडमिरल हरि कुमार चार दशकों के शानदार कॅरियर के बाद सेवानिवृत्त हुए हैं।

एडमिरल त्रिपाठी ने ऐसे समय में नौसेना प्रमुख की जिम्मेदारी संभाली है जब लाल सागर और अदन की खाड़ी समेत अनेक रणनीतिक जलमार्गों पर सुरक्षा चुनौतियां पैदा हुई हैं जिनमें क्षेत्र में हूती उग्रवादियों द्वारा विभिन्न कारोबारी जहाजों को निशाना बनाया जाना शामिल है। एडमिरल त्रिपाठी ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘पिछले कुछ सालों में हमारी नौसेना युद्ध के लिए तैयार, एकजुट, विश्वसनीय और भविष्य के लिहाज से तत्पर बल के रूप में विकसित हुई है।’’

उन्होंने कहा, ‘‘समुद्री क्षेत्र में मौजूदा और उभरती चुनौतियों के मद्देनजर भारतीय नौसेना को शांतिकाल में संभावित शत्रुओं से निपटने के लिए हर समय परिचालन की दृष्टि से तैयार रहना होगा और यदि कहा जाए तो समुद्र में तथा समुद्र से युद्ध जीतने के लिए तैयार रहना होगा।’’ एडमिरल त्रिपाठी ने कहा, ‘‘मेरा एकमात्र ध्यान और प्रयास इस दिशा में होगा।’’ नौसेना प्रमुख ने यह भी कहा कि आत्म-निर्भरता बढ़ाने के लिए नौसेना के जारी प्रयासों को बढ़ाने पर वह प्राथमिकता देंगे।

उन्होंने कहा, ‘‘मैं आत्म-निर्भरता की दिशा में, नई प्रौद्योगिकियों को पेश करने में और ‘विकसित भारत’ के लिए हमारे सामूहिक प्रयासों की दिशा में राष्ट्रीय विकास कामहत्वपूर्ण स्तंभ बनने में भारतीय नौसेना के चल रहे प्रयासों को भी मजबूत करूंगा।’’ एडमिरल त्रिपाठी ने कहा कि वह बल के मानव संसाधन से संबंधित मुद्दों पर भी ध्यान देंगे। उन्होंने कहा, ‘‘मेरी प्राथमिकता हमारे मानव संसाधन का कौशल विकास करने की होगी जो हमारी नौसेना के पुरुष और महिला कर्मी हैं। मेरी प्राथमिकता उन्हें सर्वश्रेष्ठ शस्त्र, प्रशिक्षण, पेशेवर माहौल और प्रशासनिक समर्थन देने की होगी।’’