
विजय नायर केजरीवाल का करीबी बताया जा रहा
नई दिल्ली। ईडी ने दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल को शराब नीति घोटाले में राऊज एवेन्यू कोर्ट में पेश किया। ईडी ने अपनी 28 पन्नों की दलील में विजय नायर का नाम बार-बार लिया है। जानते हैं ये विजय नायर कौन हैं और दिल्ली आबकारी नीति में उनकी भूमिका क्या है। विजय नायर को सीबीआई ने दिल्ली आवकारी नीति के मामले में आरोपी भी बनाया है और उनकी गिरफ्तारी भी हुई है।
इवेंट्स कंपनी ‘ओनली मच लाउडर’ के पूर्व सीईओ नायर पिछले आठ साल से आम आदमी पार्टी से जुड़े हैं और शुरू में वह पार्ट टाइम वॉलंटियर थे। पिछले कुछ समय से उनका कद काफी बढ़ा है और अब वे आम आदमी पार्टी के संचार प्रभारी हैं। केजरीवाल के करीबी माने जाने वाले नायर के कद का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि वह अभियान से लेकर नीति निर्माण तक में पार्टी को सलाह देते हैं।
लगातार बढ़ता गया कद
नायर वर्ष 2014-15 में आम आदमी पार्टी के साथ जुड़े। वर्ष 2019 तक उनकी भूमिका ज्यादातर सोशल मीडिया पर रणनीति बनाने, पार्टी कें लिए चंदा एकत्र करने और पार्टी के कार्यक्रमों को संचालित करने की थी। इसके बाद हालात बदलते गए और नायर राजनीतिक, अभियान और घोषणा-पत्र और नीति-निर्माण में भी पार्टी को सलाह देने लगे। नायर ने हमेशा पर्दे के पीछे रहना पसंद करते थे। 2020 के दिल्ली चुनावों में आम आदमी पार्टी की शानदार जीत के बाद पार्टी में उनका कद बढ़ गया। वे अब पार्टी के शीर्ष नेताओं में आने लगे थे।

6 कंपनियों के डायरेक्टर रह चुके हैं विजय नायर
विजय नायर ने ओएमएल एंटरटेनमेंट प्राइवेट लिमिटेड, वेस्टलैंड एंटरटेनमेंट प्राइवेट लिमिटेड, ओनली मच लाउडर इवेंट मैनेजमेंट प्राइवेट लिमिटेड, मदर्सवियर एंटरटेनमेंट प्राइवेट लिमिटेड, बेबलफिश प्रोडक्शंस प्राइवेट लिमिटेड और ओएमएल डिजिटल प्रोडक्शन प्राइवेट लिमिटेड के निदेशक के रूप में काम किया। 2018 के मध्य में उन्होंने डायरेक्टर बनना छोड़ दिया। जब विजय नायर ओनली मच लाउडर के निदेशक थे तो कंपनी नेे कई लाइव संगीत शो, कॉमेडी शो आयोजित करवाए थे।
विजय नायर पर क्या हैं आरोप
नायर को राष्ट्रीय राजधानी में शराब के ठेकों के लाइसेंस के आवंटन में कथित अनियमितताओं के संबंध में ‘गुटबंदी’ और ‘षड्यंत्र’ में संलिप्तता के आरोप में गिरफ्तार किया गया है। उनपर आरोप लगाया गया है कि दिल्ली सरकार में पूर्व मंत्री सिसोदिया के सहायक अर्जुन पांडे ने विजय नायर की ओर से शराब कारोबारी समीर महेंद्रू से करीब चार करोड़ रुपए नकद लिए थे।